महराजगंज जिला स्थित सोहगीबरवा वन्यजीव प्रभाग में अब पर्यटक जंगल सफारी का मजा ले सकते हैं. ईको टूरिज्म विकसित करने के लिए 5 अप्रैल से रोमांचकारी जंगल सफारी पर्यटकों को समर्पित कर दी जाएगी.
डीएम की पहल, जिले में शुरू कर रहे जंगल सफारी
प्रशासन की पहल रहेगी कि जो भी पर्यटक जंगल सफारी के लिए जाएंगे. उनको वनटांगिया गांव में ले जाया जाएगा. उनके रहन-सहन के बारे में दिखाया और बताया जाएगा. महाराजगंज में स्थित सोहगीबरवा वन्य जीव प्रभाग काफी घना है. जिसको देखते हुए जिलाधिकारी सतेंद्र कुमार ने पहल करते हुए इको टूरिज्म विकसित करते हुए यहां जंगल सफारी शुरू कर रहे हैं. जिससे क्षेत्र में ज्यादा से ज्यादा पर्यटक आ सके और क्षेत्र का विकास हो सके.
निवेश के इच्छुकों को भी मिलेगा मौका
जंगल सफारी के लिए प्रशासन सैलानियों के ठहरने के लिए जंगल के टूरिस्ट सर्किट में ट्री हट बनाए जाने की योजना है. जंगल सफारी व ट्री हट के लिए निजी क्षेत्र का भी सहयोग लिया जाएगा. अगर कोई ट्रेवेल एजेंसी जंगल सफारी के लिए वाहन उपलब्ध कराएगी तो उसे वन विभाग की तरफ से लाइसेंस मुहैया कराया जाएगा. ट्री हट में निवेश के इच्छुक को भी मौका मिलेगा.
देखने को मिलेंगे तेंदुए, मगरमच्छ और अन्य वन्यजीव
जिलाधिकारी ने बताया कि जो भी पर्यटक जंगल सफारी जाएंगे. उनको सोहगीबरवा वन्य जीव प्रभाग मे देखने को तेंदुए, मगरमच्छ व अन्य वन्यजीव भी मिलेंगे. सोहगीबरवा सेंक्चुरी में तीस से अधिक तेंदुए हैं. इसके अलावा कई अन्य दुर्लभ वन्यजीव हैं. जंगल सफारी के लिए मधवलिया, उत्तरी व दक्षिणी चौक रेंज के जंगल में रूट चयन का काम शुरू कर दिया गया है. रूट इस तरह निर्धारित किए जाएंगे कि तेंदुए नजर आ सकें. जंगल सफारी के लिए वाहन में गाइड भी मौजूद रहेंगे. वे सैलानियों को जंगल की विशेषता बताएंगे. जंगल सफारी के रूट में महात्मा बुद्ध से जुड़े रामग्राम को भी शामिल किया जाएगा.
शासन को भेजा गया 6 करोड़ रुपये का प्रस्ताव
सेंक्चुरी में ईको टूरिज्म के लिए डीएम सत्येंद्र कुमार ने छह करोड़ रुपये का प्रस्ताव शासन को भेजा है. उम्मीद जताई जा रही है कि प्रोजेक्ट स्वीकार हो जाएगा। धनराशि की स्वीकृति भी मिल जाएगी. डीएम की कोशिश है कि फिलहाल जंगल सफारी शुरू कराई जाए. इससे सैलानियों को रोमांच का मौका मिलेगा. कई जगह कैंटीन भी बनाने की योजना है, जिससे सैलानियों को जंगल के अंदर ही जरूरत का सामान आसानी से मिल जाए.